हर दिन कुछ न कुछ घटता है और उसमें से कुछ इतिहास में अमर हो जाता है.
इसी क्रम में आने वाली पीढ़ियां देखती हैं कि हमारे अतीत में क्या-क्या हुआ है. वो इससे सीखती हैं और आगे बढ़ती हैं.
'डे' इन हिस्ट्री की कड़ी में अाज हम 4 अगस्त को घटित महत्वपूर्ण घटनाओं के बारे में जानेंगे–
शुरू हुआ भारत का पहला परमाणु अनुसंधान केंद्र
4 अगस्त 1935 के दिन भारत के पहले परमाणु अनुसंधान रिएक्टर का गठन हुआ. इसका नाम अप्सरा रखा गया. इसका प्रारूप भाभा एटोमिक रिसर्च सेंटर ने तैयार किया था. वहीँ इसको बनाने का श्रेय यूनाइटेड किंगडम को जाता है.
यूनाइटेड किंगडम ने ही पहले-पहल इस रिएक्टर को ईंधन प्रधान किया था. ईंधन के रूप में उसने इस केंद्र को 80 प्रतिशत युरेनियम दिया था. अप्सरा एक हल्के वजन का रिएक्टर है. इसका आकर एक स्विमिंग पूल के जैसा है. यह अधिकतम 1 मेगावाट की ऊर्जा उत्पन्न कर सकता है. ऊर्जा उत्पन्न करने के लिए यह एल्युमिनियम की प्लेटों में युरेनियम का दहन करता है.
आज भी इसका ईंधन यूनाइटेड किंगडम से ही आता है. इसको कड़ी शर्तों के तहत ही यहां लाया जाता है. यह रिएक्टर खुद ‘इंटरनेशनल एटॉमिक एनर्जी एजेंसी’ की देखरेख में काम करता है.
अभी तक इस रिएक्टर अनुसंधान केंद्र का प्रयोग अनेक प्रकार के अध्ययनों के लिए किया जा चुका है. इसमें न्यूट्रान एक्टिवेशन, रेडिएशन कंट्रोल, रेडिएशन डैमेज और फॉरेंसिक रिसर्च के लिए किया जा चुका है.
आज इसे अपग्रेड करके इसकी क्षमता 10 मेगावाट तक बढ़ाने की बात चल रही है.
दुनिया को मिली ओबामा जैसी शख्सियत
4 जून के ही दिन 1961 को बराक ओबामा का पूरा जन्म हुआ था. उनकी मां अमेरिकी श्वेत हैं तथा उनके पिता केन्या के एक बुद्धिजीवी अश्वेत थे. वह 6 साल के रहे होंगे, जब उनके माता-पिता का तलाक हो गया.
आगे उनकी मां ने एक इंडोनेशियाई व्यक्ति से शादी कर ली. 27 वर्ष की उम्र में ओबामा हावर्ड लॉ स्कूल में भर्ती हो गए। वहां से उन्होंने ग्रेजुएशन किया.
शिकागो की एक लॉ फर्म में काम करते हुए मिशेल रॉबिन्सन से उनकी मुलाकात हुई, जोकि 1992 में उनकी पत्नी बनीं.
2008 में पहली बार अमेरिका के इतिहास में वे पहले अश्वेत राष्ट्रपति बने थे. उनका कार्यकाल किस तरह का रहा इसे इसी बात से समझा जा सकता है कि वे अमेरिका में लगातार दो बार राष्ट्रपति चुने गए.
यही नहीं 2009 में उन्हें शांति के नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया!
ऐनी फ्रैंक को परिवार समेत हुई गिरफ्तारी
4 अगस्त के ही दिन 1944 को 'डायरी ऑफ ए यंग गर्ल' लिखने वाली एन फ्रैंक और उनका परिवार एमर्टडम को हिरासत में ले लिया गया था. गिरफ्तार किया गया था. उसका कसूर सिर्फ इतना था कि वो एक यहूदी परिवार से थीं.
अब चूंकि उस दौर में जर्मन लोग मानते थे कि यहूदी लोग जर्मनी में रहने लायक नहीं है, तो उन्होंने ऐनी फ्रेंक को उनके परिवार के साथ जेल में डाल दिया.
बाद में उन्हें पकड़कर बर्गेन-बेल्सन प्रताड़ना केंद्र भेज दिया गया, जहां उनकी टाइफस की वजह से मौत हो गई. बताते चलें कि 16 बरस की उम्र में इस दुनिया से जाने के बावजूद जीना सिखाने वाली एन फ्रैंक का जन्म साल 1929 में हुआ था.
मरणोपरांतच वह अपनी 'डायरी ऑफ ए यंग गर्ल' के लिए चर्चा में रहीं और मशहूर भी हुईं.
इस डायरी में 12 जून 1942 से 1 अगस्त 1944 के बीच उनकी जिंदगी में जो घटा उसका ब्योरा है. यह डायरी उन्हें 13वें जन्मदिन पर तोहफे में मिली थी. उनके पिता ने पहली बार 1947 में इसे प्रकाशन के लिए भेजा था.
बाद में इसकी 3 करोड़ प्रतियां बिकी और करीब 67 भाषाओं में अनुवाद हुआ .
इंग्लैंड ने जर्मनी के खिलाफ युद्ध की घोषणा की
4 अगस्त के दिन ही 1914 को पहले विश्व युद्ध के दौरान इंग्लैंड ने जर्मनी से युद्ध का एलान कर दिया था. यह युद्ध एशिया, यूरोप और अफ्रीका देशों के मध्य लड़ा गया था.आगे, युद्ध की शुरुआत हो चुकी थी.
जून 1914 में आस्ट्रिया के आर्कड्यूक फ़्रांज़ फ़र्डिनेंड की सारजेवो में एक सर्बियाई राष्ट्रवादी ने हत्या कर दी थी. इसके बाद आस्ट्रिया ने 28 जुलाई को सर्बिया के खिलाफ युद्ध का एलान कर दिया.
इस युद्ध में रूस आस्ट्रिया का साथ देने लगा.
इसी बीच जर्मनी और फ्रांस ने एक दूसरे के खिलाफ युद्ध एलान किया. ऐसे में जर्मनी ने फ़्रांस की ओर बढ़ने से पहले बेल्जियम और लक्जबर्ग पर हमला कर दिया था.
इस हमले के बाद ही 4 अगस्त 1914 में ग्रेट ब्रिटेन ने जर्मनी के विरुद्ध युद्ध की घोषणा कर दिया था.
हालांकि, इंग्लैंड ने जर्मनी को बेल्जियम से दूर रहने की पहले ही चेतावनी दी थी, मगर इसके बावजूद जर्मनी ने हमला किया था.
'जेसी' ने लंबी कूद में स्वर्ण जीतकर रचा इतिहास
4 अगस्त के ही दिन 1936 को अमेरिकी खिलाड़ी जेसी ओवेन्स ने बर्लिन में ग्रीष्मकालीन ओलंपिक में लंबी कूद में स्वर्ण जीतकर इतिहास रचा. वह 1936 के बर्लिन ओलंपिक में जेसी ट्रेक एण्ड फील्ड में चार गोल्ड मेडल्स जीतने वाले पहले अमेरिकी एथलीट भी थे. उनका जन्म 12 सितम्बर सन् 1913 को अलबामा के ओकविले में हुआ था.
जेसी की पारिवारिक स्थिति की बात करें, तो वह बेहद ही गरीब परिवार से थे. ऊपर से बचपन में ही वह एक बीमारी का शिकार हो गए. इसके चलते उन्हें सांस लेने में खासा दिक्कतों का सामना करना पड़ता था.
बावजूद इसके उन्होंने अपनी कड़ी मेहनत के दम पर दुनिया को जीता. सन् 1979 में अमेरिकी राष्ट्रपति जिमी कार्टर ने जेसी को व्हाईट हाउस में लीविंग लिजेंड अवार्ड से सम्मानित किया.
जेसी 35 सालों तक चेन स्मोकर थे, जिसकी वजह से वे लंग्स केंसर की गिरफ्त में आ गऐ और दिसम्बर 1979 में अस्पताल में उन्हें भर्ती होना पड़ा था । एक साल बाद 31 मार्च 1980 को युएस के एरिजोना में उनका निधन हो गया.
बहरहाल, ये थी 4 अगस्त के दिन से जुड़ी कुछ खास घटनाएं, जो इस दिन को अलग ही महत्व देती हैं.
अगर आप भी इस दिन से जुड़ी किसी घटना के बारे में जानते हैं, तो नीचे दिए कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं.
Web Title: Day In History 4 August, Hindi Article
Feature Image: skeptism