हर एक तारीख महत्वपूर्ण है..!
इन तारीखों के साथ गुजरती ऐतिहासिक घटनाएं कैलेंडर में कैद हो जाती है. ऐसी हजीरों तारीखें इतिहास की किताबों में दर्ज हैं, जो हमें दुनिया के मशहूर किस्सों के बारे में बताती हैं, जिन्हें हर कोई जानना और पढ़ना चाहता है.
‘डे’ इन हिस्ट्री की इस कड़ी में हम आपको इतिहास के पन्नों को टटोलकर ऐसी ही कुछ कहानियां और रोचक किस्सों के बारे में बताने वाले हैं.
तो चलिए जानते हैं 11 मई के दिन घटित हुई महत्वपूर्ण घटनाएं–
भारत की जनसंख्या ने ‘एक अरब’ का आंकड़ा छुआ!
आज का दिन भारत के लिए आंकड़ों के हिसाब से काफी खास है. साल 2000 में 11 मई को भारत की जनसंख्या एक अरब के आंकड़े को छू गई थी. आज ही के दिन भारत में अधिकारिक तौर पर देश की जनसंख्या एक अरब होने की पुष्टि की गई थी.
भारतीय सरकार देश की बढ़ती आबादी को लेकर कुछ चिंतित भी है. इसलिए विभिन्न माध्यमों से लोगों को छोटा परिवार बसाने के लिए जागरूक किया जाता है. जनसंख्सा के हिसाब से भारत आज दुनिया में दूसरे स्थान पर है. सबसे अधिक जनसंख्या के मामले में चाइना पहले स्थान पर काबिज है. भारत की जनसंख्या जिस दिन एक अरब पहुंची थी.
माना जाता है कि भारत में हर रोज़ हज़ारों की संख्या में बच्चे पैदा होते हैं.
ऐसे में यह अनुमान लगाना मुश्किल है कि एक अरब के आंकड़े को पूरा करने वाला बच्चा कौन था, लेकिन उस दिन दिल्ली के सफदरगंत अस्पताल में पैदा हुई एक लड़की को एक अरबवां बच्चा माना गया था. 18 साल पहले पहले, भारत की आधिकारिक आबादी 11 मई, 2000 को एक बच्ची ‘आस्था’ के जन्म के साथ एक अरब के निशान तक पहुंच गई थी.
उस दौरान इस बच्ची को मीडिया में काफी सुर्खियां मिली थीं. उस समय की तत्कालीन महिला और बाल कल्याण मंत्री और वर्तमान लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन आस्था की मां से मिलने अस्पताल पहुंचीं थीं. उस समय दौ से अधिक मीडियाकर्मी अस्पताल में मौजूद थे. आस्था की खबर भारतीय मीडिया में काफी छाई रही थी.
India’s One Billionth Baby Astha (Representative Pic: thegloabandmail)
अब्दुल कलाम ने भारत को दिया ‘पोखरण-2 बम’
भारत 1947 को अंग्रेजों की गुलामी से आजाद हो चुका था, लेकिन उसे अभी भी कई मुकाम हासिल करने थे. भारत की ओर से 18 मई 1974 को वैश्विक शांति और स्थिरता की कड़ी में एक बड़ा कदम उठाया गया. भारत ने अपना पहला परमाणु परीक्षण ‘स्माइलिंग बुद्धा‘ पोखरण में सफलतापूर्वक किया.
इसके बाद भारत का स्थान और उसकी साख एक मजबूत राष्ट्र के तौर पर बढ़ी. इस कड़ी में भारत ने परमाणु परीक्षण के अगले चरण पर काम शुरू किया. पहले परमाणु परीक्षण में अपार सफलता के बाद भारत के वैज्ञानिक दूसरे परमाणु परीक्षण की तैयारियों में जुट गए.
इस बार बारी थी पोखरण-2 की, जिसकी सफलता के बाद भारत ने खेत-खलिहान से लेकर विज्ञान तक के क्षेत्र में कई कीर्तिमान हासिल किए.
भारत के दिवंगत पूर्व राष्ट्रपति और महान वैज्ञानिक अब्दुल कलाम ने भारत को दूसरा परमाणु बम हासिल करने में अहम भूमिका निभाई थी. भारत के पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने भारत को परमाणु विकसित देशों में और मज़बूत करने का जो सपना देखा था. उन सपनों को अब्दुल कलाम ने पंख लगाने में मदद की थी.
पोखरण-2 पर काम कर रहे वैज्ञानिकों ने इसे सफल बनाने के लिये खुद को पूरा समर्पित कर दिया था. अब्दुल कलाम की देखरेख में वैज्ञानिकों की टुकड़ी पोखरण-2 पर कार्य कर रही थी. आपको जानकर हैरानी होगी कि भारत को दूसरा परमाणु बम देने के लिए भारतीय वैज्ञानिकों ने साल 1990 के बाद ही इसपर काम करना शुरु कर दिया था.
भारत का मिसाइल प्रोग्राम अब्दुल कलाम के नेतृत्व में चल रहा था.
राजस्थान के पोखरण की आर्मी बेस लैब में अब्दुल कलाम वैज्ञानिकों की टीम के साथ पोखरण-2 पर काम कर रहे थे. प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने भारतीय सेना से विचार विमर्श करने के बाद परमाणु बम के परीक्षण के लिये 11 मई 1998 का दिन चुना.
इस परीक्षण को ‘ऑपरेशन शक्ति’ का नाम दिया गया. इसके साथ से भारत की शक्ति बढ़ने वाली थी. इसलिए ही शायद इसे ‘ऑपरेशन शक्ति’ नाम दिया गया.
APJ Abdul Kalam: The man behind Pokhran 2 (Pic: wionews)
भारत के प्राचीन सोमनाथ मंदिर का हुआ शुभारंभ
गुजरात में स्थित सोमनाथ मंदिर को हिन्दू मान्यता के अनुसार विशिष्ट स्थान प्राप्त है. गुजरात के पश्चिमी तट पर सौराष्ट्र में वेरावल के पास प्रभात पाटन में सोमनाथ मंदिर स्थित है.
भारत में हिन्दू समुदाय के लोगों का इस मंदिर पर अटूट विश्वास है. सोमनाथ मंदिर की गिनती भारत के प्रसिद्ध मंदिरों में होती है. बता दें कि 11 मई साल 1951 में तत्कालीन राष्ट्रपति राजेन्द्र प्रसाद ने नवनिर्मित सोमनाथ मंदिर का उद्घाटन किया था.
इसी दिन यह मंदिर श्रद्धालुओं के लिए खोला गया था. उस दिन से अब तक हर रोज़ लाखों की संख्या में देश के कोने-कोने से इस मंदिर में दर्शन करने के लिए श्रद्धालुओं की टोली आती है. इस मंदिर का बड़ा रोचक इतिहास है.
माना जाता है कि यह मंदिर इतना बड़ा है कि इस मंदिर को पूरी तरह से घूमने में आपको लगभग 5 घंटे से अधिक समय लग सकता है. माना जाता है कि यह मंदिर रोज़ सुबह 6 बजे से रात 9 बजे तक खुला रहता है. इस बीच श्रद्धालु यहां दर्शन कर सकते हैं. वहीं इस मंदिर में रोज़ाना तीन आरतियाँ होती हैं.
पहली आरती सुबह 7 बजे शुरु होती है. दूसरी आरती दोपहर 12 बजे और तीसरी और आखिरी आरती शाम 7 बजे होती है. माना जाता है कि सोमनाथ मंदिर के पास भालका नाम की जगह है जहां हिन्दू समुदाय के भगवान श्री कृष्ण ने धरती पर अपनी लीला समाप्त की थी. सोमनाथ मंदिर को भगवान शिव का भी मुख्य स्थान माना जाता है.
Somnath Mandir In Gujarat (Pic: templedetails)
जब फुटबॉल मैच के दौरान स्टेडियम में लगी आग
आज का दिन इंग्लैंड के लिए काफी कड़वी यादें लेकर आया था. इंग्लैंड के ब्रैफोर्ड सिटी में स्टेडियम में आग लगने से 56 लोगों की जलकर मौत हो गई थी.
फुटबॉल मैच के दौरान यह हादसा हुआ. फुटबॉल मैच के दौरान स्टेडियम में आग लगने का यह किस्सा पहली बार घटित हुआ था. 11 मई साल 1985 में ब्रिटेन के ब्रैडफ़र्ड सिटी फ़ुटबॉल स्टेडियम में एक मैच के दौरान आग लग गई थी. आग के कारण कई लोग बुरी तरह से जख्मी हो गए थे. आग दर्शक दीर्घा में लगी थी, जहां लोग बैठकर मैच का आनंद ले रहे थे. आग इतनी तेजी से लगी कि वहां बैठे हजारों की संख्या में लोग समझ ही नहीं पाए कि अचानक क्या हुआ.
कुछ ही मिनटों में आग ने विकराल रूप धारण कर लिया. जब तक लोग कुछ समझ पाते तब तक कई लोग आग की चपेट में आ चुके थे. वहीं अन्य लोगों ने आग से बचने के लिए ग्राउंड की ओर दौड़ लगा दी.
स्टेडियम में मौजूद लोग मैदान में एकत्रित हो गए. हालांकि बाद में पुलिस ने अपनी जांच रिपोर्ट में माना कि भगदड़ के कारण स्टेडियम के मुख्य गेट पर भीड़ काफी हो गई थी. जिसके कारण से इतने अधिक लोगों की जान गई.
When A Fire Erupted At Bradford City Stadium (Pic:worldsoccer)
तो ये थे 11 मई से जुड़े कुछ अहम ऐतिहासिक किस्से! अगर आपको भी इस तारीख से संबंधित कोई विशेष घटना याद है, तो कृपया हमें कमेंट बॉक्स में ज़रुर बताएं.
Web Title: Historical Events Of 11 May, Hindi Article
Featured Image Credit: lifehacker