हर किसी की एक कहानी होती है, हमारी भी है और आपकी भी होगी!
इसी तरह हर तारीख की अपनी एक कहानी है. असल में हर रोज दुनिया में कहीं न कहीं एक ऐसी घटना होती है, जो ऐतिहासिक होती है और इतिहास लिखती है.
कई बार तो एक ही वक्त पर कई देशों में इतिहास रचा जा रहा होता है, जिनसे हम अंजान होते है. ऐसे में जब भी कोई ऐसी घटना होती है तो उस दिन की तारीख महत्वपूर्ण हो जाती है.
आज हम कुछ ऐसी ही महत्वपूर्ण और ऐतिहासिक घटनाओं को जानेंगे, जो 11 मार्च को घटित हुई थीं –
पॉल मैक्कार्टने को मिली ‘नाइट’ की उपाधि
आज ही के दिन यानी 11 मार्च 1997 को अंतरराष्ट्रीय म्यूजिक बैंड ‘द बीटल्स’ के पूर्व सदस्य पॉल मैक्कार्टने को इंग्लैंड की महारानी एलिजाबेथ द्वितीय ने ‘नाइट‘ की उपाधि से सम्मानित किया. इन्हें ये सम्मान संगीत के क्षेत्र में अपनी सेवाएं देने के लिए दिया गया.
लिवरपूल में पैदा हुए पॉल मैक्कार्टने को वकिंग्घम पैलेस में मिली इस उपाधि के बाद सर पॉल मैक्कार्टने कहा गया. बताते चलें कि आज भी ‘द बीटल्स’ बैंड के लोग दीवाने हैं.
वहीं पॉल की दीवानगी में लोग अपने हीरो के समर्थन में इस समारोह के दौरान वकिंग्घम पैलेस के बाहर बड़ी तादाद में इकट्ठा हुए थे.
Paul McCartney knighted. (Pic: history)
ईरान-पाकिस्तान में हुआ गैस समझौता
11 मार्च 2013 को दुनिया के दो मुस्लिम देशों ईरान और पाकिस्तान के बीच 7.5 अरब डॉलर की गैस पाइपलाइन का उद्घाटन हुआ था. दोनों मुल्कों के राष्ट्रपतियों ने मिलकर इस पाइपलाइन का उद्धाटन किया था.
इसमें पाकिस्तान की तरफ से पाइपलाइन के 780 किलोमीटर सेक्शन को बिछाने में 1.5 अरब डॉलर खर्च होंने वाले थे. गौरतलब हो कि ईरान में दुनिया की कुल गैस का दूसरा सबसे बड़ा भंडार मौजूद है.
Iran-Pakistan Gas Pipeline Project. (Pic: brecorder)
लिथुआनिया ने की आजादी की घोषणा
11 मार्च 1990 को यूएसएसआर या सोवियत समाजवादी गणराज्य संघ से लिथुआनिया ने अपनी आजादी की घोषणा की थी. ये पहला सोवियत देश था, जिसने यूएसएसआर से अलग होने की घोषणा की थी.
हालांकि, आजादी की इस घोषणा के बाद लिथुआनिया को सोवियत संघ का प्रकोप झेलना पड़ा.
सोवियत संघ ने इस देश को तेल आपूर्ति रोक दी और उस पर आर्थिक नाकेबंदी लगा दी गई. वहीं अपनी सेना को लिथुआनिया पर हमले का आदेश दे दिया.
इससे पहले कॉमनवेल्थ के दौरान लिथुआनिया पॉलैंड के साथ जुड़ा हुअा था.
बाद मे कई बार लिथुआनिया पर रूसी सेना और जर्मन सेना ने आक्रमण किए. इसी क्रम में द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान लिथुआनिया ने जर्मन सेना की ओर से रूस के खिलाफ युद्ध लड़ा था.
Lithuania Proclaims its Independence from USSR. (Pic: DELFI EN)
धमाकों की गूंज से दहल गया मैड्रिड
बात 11 मार्च 2004 की है, जब मैड्रिड के एक स्टेशन पर सुबह के समय 4 ट्रेनों में लगातार 10 बम ब्लास्ट हुए. इससे पूरा स्पेन दहल उठा था, जिसमें लगभग 200 लोगों की मौत हुई थी, वहीं 2000 लोग इसमें घायल हुए.
इस हादसे के बाद चारों और चीख पुकार मची थी और लोग कराह रहे थे, हर तरफ लाशें थीं. यह एक आतंकवादी हमला था, जो स्पेन की राजधानी के पास बने दो अलग-अलग स्टेशनों पर किया गया.
बाद में हुई जांच में पता चला कि इसके पीछे ओसामा बिन लादेन के आतंकवादी संगठन अलकायदा का हाथ था. आतंकवाद एक ऐसी घटना है, जो एक देश को ही नहीं, बल्कि पूरी मानवता और दुनिया को हिला कर रख देती है.
Terrorists Bomb Trains in Madrid. (Pic: NBC)
जब सुनामी से पानी-पानी हो गया जापान
सुनामी का नाम इससे पहले सुना जरूर था, लेकिन तबाही का मंजर 2004 में उस वक्त देखने को मिला, जब 9.1 की तीव्रता के भूकंप के बाद सुमात्रा में एक बड़ी सुनामी आई थी.
इसमें लगभग 2.5 लाख लोगों की जान गई थी.
वहीं इसके बाद साल 2011 में आई जापान की सुनामी ने अपना और भी भयानक रूप दिखाया.
आज ही के दिन यानी 11 मार्च 2011 को जापान में भूकंप आया, जोकि पैमाने पर 9 रिक्टर स्केल की तीव्रता का था. इसके बाद तो मानो चारों ओर से समुद्र से घिरे जापान पर कहर ही टूट पड़ा.
देखते ही देखते समुद्र से उठे जलजले ने जापानी द्वीपों को अपना निशाना बनाना शुरू कर दिया. इस भूकंप और उसके बाद आई सुनामी लहरों में करीब 16 हजार लोगों को अपनी जिंदगी से हाथ धोना पड़ा था. बताते चलें कि लगभग 2500 लोग आज भी लापता हैं.
यही नहीं इस भूकंप के कारण 1,50,000 लाख लोगों ने अपना घर खो दिया और 50,000 लोग आज भी सरकारी आवासों में रह रहे है.
यह पहला मौका था, जब जापान के ऊपर इतनी बड़ी प्राकृतिक आपदा आई.
Japan Earthquake & Tsunami of 2011. (Pic: NY Daily News)
मिखाइल गोर्बाचेव बने सोवियत नेता!
11 मार्च सन 1985 को सोवियत संघ को नया नेता मिला, ये थे मिखाइल गोर्बाचेव.
जैसा कि उस समय हर एक रूसी नागरिक कर रहा था, कुछ वैसा ही सन 1931 को पैदा हुए मिखाइल गोर्बाचेव ने भी किया. वह बड़े हुए और कम्युनिस्ट पार्टी में शामिल हो गए.
गोर्बोचेव राजनीति में बहुत सक्रिय थे और उनका तेज़ दिमाग. ऊपर से अवसरों को मौके में बदलने की काबलियत ने उन्हें 11 मार्च सन् 1985 को सोवियत संघ का लीडर बना दिया.
अगले छह वर्षों के दौरान गोर्बाचेव ने घरेलू सुधारों और विदेशी नीति में परिवर्तन करते हुए तेज गति से सोवियत संघ का नेतृत्व किया. उन्होंने राजनीतिक उत्पीड़न को खत्म किया. साथ ही राष्ट्र के ढहते आर्थिक ढांचे को सुधार कर बेहतरीन और प्रभावी नीतियां बनाईं.
विदेश नीति के मामले में उन्होंने संयुक्त राज्य अमेरिका के साथ बेहतर संबंधों को सुरक्षित करने के लिए कड़ी मेहनत की. इसी कड़ी में 1987 को उन्होंने और अमेरिकी राष्ट्रपति रोनाल्ड रीगन ने इंटरमीडिएट-रेंज परमाणु सेना (आईएनएफ) संधि पर हस्ताक्षर किए.
अपने रणनीतियों के कारण मिखाइल गोर्बोचेव सोवियत संघ के महान नेताओ में से एक माने जाते है. इतिहास इनके जैसे नेताओं को नमन करता है.
Mikhail Gorbachev is selected as leader of the USSR. (Pic: Time Magazine)
रोमियो-जूलियट की शादी
आज ही के दिन दुनिया के सबसे मशहूर प्रेमी जोड़े रोमियों और जूलियट की शादी हुई थी. रोमियो-जुलियट एक ऐसा प्रेमी जोड़ा है, जिसका नाम हर किसी ने सुना है.
वहीं प्यार की मिशाल और युवाओं के आदर्श के तौर पर रोमियो-जुलियट को देखा जाता है.
विलियम शेक्सपियर के बहुचर्चित नाटक ‘रोमियो और जूलियट’ के मशहूर पात्र रोमियो मोंटोकियो और जूलियट कैपेलेटो की शादी सीटाडेला, इटली में 11 मार्च, 1302 को हुई थी.
Romeo Montocchio and Juliet Capelletto. (Pic: ThoughtCo)
तो ये थीं 11 मार्च से जुड़ी कुछ खास जानकारियां!
अगर आप भी इस दिन से जुड़ा कोई विशेष और ऐतिहासिक किस्सा जानते हैं, तो कृपया नीचे कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं.
Web Title: Important Historical Events of 11th March, Hindi Article
Featured Image Credit: NBC News