आर्म रेसलिंग!
खेल की एक ऐसी विधा, जिसका जिक्र होने भर से हमारी आंखों के सामने एक खास तस्वीर तैरने लगती है. इस तस्वीर में खासतौर पर दो लड़कों के चेहरे दिखाई देते हैं. जो अपने-अपने पंजे से एक-दूजे को पटखनी दने की कोशिश कर रहे होते हैं.
मगर अब यह तस्वीर बदलने लगी है. इसमें दो लड़कों की जगह अब लड़कियां भी दिखने लगी हैं. जी हां! सही पढ़ा आपने लड़कियां. मजीज़िया भानु एक ऐसा ही उदाहरण है.
तो आइए उन्हें जरा नजदीक से जानते हैं-
पति और पिता ने आगे बढ़ाया
मजीज़िया केरला के कोज़ीकोडे से आती हैं. वहां खेलों के लिए कोई खास सुविधा नहीं है. दूसरी बात यह कि उनके परिवार की आर्थिक स्थिति ऐसी नहीं थी कि वह आर्म रेसलिंग या पावर लिफ्टिंग जैसे खेलों का खर्चा उठा पाते.
वैसे भी ये ताकत के खेल थे, जिनके लिए खान-पान पर बहुत ध्यान देना पड़ता है और इसके लिए अच्छे खासे धन की, जोकि मजीज़िया के परिवार के पास था नहीं. लिहाजा उन्हें आगे बढ़ना मुश्किल लग रहा था!
किन्तु, उनके माता-पिता जानते थे कि उनकी बेटी हुनरबाज हैं. उसके पंच इतने अच्छे हैं कि अच्छे से अच्छा खिलाड़ी भी उसके सामने पानी मांग लेगा! शायद यही कारण रहा कि उन्होंने तय किया कि कुछ भी करके अपनी बेटी का सपना पूरा करेंगे.
इसके लिए उन्होंने पूरी तरह से समर्पित कर दिया. इस राह में मजीज़िया के मंगेतर ने भी उनका साथ दिया.
इस तरह मजीज़िया ने मैदान पर पसीना बहाना शुरु कर दिया. उन्होंने जल्द निखरने के लिए एक कोच से संपर्क किया. पर चूंकि वह उनकी पहुंच से बहुत दूर थे, इसलिए उन्होंने वाट्सएप पर उनके द्वारा भेजी तस्वीरों को अपना आधार बना लिया.
जल्द ही उनके जीवन में वह दिन आ गया, जिसे मजीजिया को इंतजार था!
रजत पदक जीतकर दिखाया दम
मजीजिया वैसे तो छोटी-छोटी प्रतियोगिताओं का हिस्सा बनती रहीं, लेकिन असली सफलता उन्होंने तब मिली जब उन्होंने 2017 को इंडोनेशिया में आयोजित एशियन पावरलिफ़्टिंग चैंपियनशिप में रजत पदक जीता था.
इस प्रतियोगिता में उनके अलावा 14 दूसरें देशों के प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया था.
उनकी जीत का सिलसिला यही नहीं रुका. 2018 को केरल में आयोजित बॉडी बिल्डिंग की प्रतियोगिता में उन्होंने 'मिस्टर केरल' (फ़ीमेल) का खिताब जीतकर अपना दम दिखाया. इसी साल कोच्चि में आयोजित महिलाओं की फ़िटनेस फिजीक प्रतियोगिता में भी उन्होंने शानदार प्रदर्शन किया और स्वर्ण पदक अपने नाम किया!
बताते चले कि मजीज़िया ने पहले 2016 में बॉक्सिंग भी ट्राय की थी. लेकिन वो ब्रेसेस पहनती हैं और इसी के चलते उनको बॉक्सिंग का आइडिया छोड़ना पड़ा. वो वेटलिफ्टिंग की चैम्पियन भी रह चुकी हैं.
अभी वह 23 साल की हैं और माहे इंस्टीट्यूट ऑफ डेंटल साइंसेस में डेंटल की पढ़ाई कर रही हैं. दुनिया अब उन्हें एक ऐसी आर्म रेसलर के रूप में पहचानती है, जो हिजाब पहनकर अपना जलवा दिखाती है!
अपने पहनावे को लेकर चर्चा में रहीं
मजीजिया ने हिजाब पहनकर आर्म रेसलिंग को चुना, इसलिए हंगामा बरपना लाजमी थी. असल में मजीजिया मुस्लिम समुदाय से आती है, जिसमें घर से निकलने से पहले लड़कियों व महिलाओं को हिजाब पहनकर निकलने की हिदायत दी जाती है.
ऐसा न करने पर अक्सर देखा जाता है कि महिलाओं के हिजाब पहनने पर कई विवाद सामने आते हैं. अगर कोई मुस्लिम महिला हिजाब नहीं पहनती तो उस पर काफी विवाद होता है.
ऐसे में जिस तरह से मजीजिया ने अपने परिवार की मदद से इस सामाजिक बैरियर को तोड़ने का काम किया. उन्होंने सिर्फ समाज को मुंहतोड़ जवाब ही नहीं दिया, बल्कि अपनी जैसी महिलाओं के लिए एक मिसाल भी कायम की.
कहते हैं कि शुरुआत में वह भी दूसरी महिलाओं की तरह अपने पहनावे को लेकर चिंतित थी, किन्तु जब उन्हें पता चला कि मिस्र की महिलाएं हिजाब में ही कसरत करती हैं, तो इसके लिए उन्होंने खुद को तैयार किया.
आसान नहीं था तरक्की का सफर
हिजाब पहनकर मजीजिया आर्म रेसलिंग के लिए मैदान में उतरीं, तो उन्हें आलोचनाओं का सामना करना पड़ा. कुछ लोगों ने तो उनका उपहास उड़ाते हुए यह तक कहा कि वह अपना बर्बाद कर रही हैं.
यही नहीं कई स्पॉन्सर्स ने तो सिर्फ इसलिए उन पर दांव लगाने से मना कर दिया, क्योंकि वह हिजाब पहनकर खेलती थीं. उनके हिसाब से अगर वे मजीजिया को प्रमोट करते तो उनकी कंपनी की इज्ज़त कम हो जाती.
जानकारों के हिसाब से आर्म रेसलिंग के लिए ड्रेस कोड के रूप में हर प्रतिभागी को एक गोल गले की टी-शर्ट के साथ अपनी बाज़ू दिखानी होती है. बावजूद इसके किसी धर्म विशेष के पहनावे से कोई समस्या नहीं है.
इसी के आधार पर लोगों का मानना है कि अगर मजीज़िया हिजाब पहनकर आर्म रेसलिंग में हिस्सा ले पाती हैं, तो इसमें समस्या क्या है! हां अगर वह खेलते वक्त खेल के नियमों का उल्लघंन करती हैं, तो उन पर सवाल उठने चाहिए.
अच्छी बात यह रही कि इन सबके बीच मजीजिया ने अपना खेल जारी रखा. नतीजा सबके सामने हैं. आज वह किसी प्रेरणा से कम नहीं हैं. कम से कम देश की बेटियां तो उनसे सीख ही सकती है!
Web Title: Majiziya Bhanu, The Hijab Wearing Bodybuilder, Hindi Article
Feature Image Credit: pagalparrot.com